21वीं सदी ने भारतीय क्रिकेट का चेहरा बदलने की शुरुआत की। 90 के दशक में रंगीन जर्सी में मैदान उतरती टीम इंडिया एक भी बड़ा खिताब नहीं जीत पाई। फिक्सिंग के मायाजाल में पड़ी टीम से फैंस को भी ज्यादा उम्मीदें नहीं थी।
लेकिन साल 2000 यानि कि 21वीं सदी की शुरुआत में जब भारत चैंपियन्स ट्रॉफी के फाइनल पहुंचा तो लगा कि इतने विवादों में भी भारत फाइनल तक पहुंचने और लगभग उसे जीतने के करीब है तो यह बहुत बड़ी उपलब्धि है। वहां से शुरु हुआ सफर थमा नहीं और भारत कई आईसीसी खिताब अपने नाम करता गया।
बीते 25 सालों में भारत ने 6 आईसीसी खिताब अपने नाम किए जिसमें से 3 चैंपियन्स ट्रॉफी है और 2 टी-20 विश्वकप है। एकमात्र वनडे विश्वकप भारत ने साल 2011 में जीता।
2002 चैंपियंस ट्रॉफी (श्रीलंका के साथ साझा) : भारत ने सौरव गांगुली की कप्तानी में अजेय रहते हुए फाइनल में प्रवेश किया। लेकिन 29 और 30 सितंबर (रिजर्व डे) को कोलंबो में लगातार बारिश के कारण भारत और मेजबान श्रीलंका को ट्रॉफी साझा करने के लिए मजबूर होना पड़ा।
2007 ICC विश्व टी20 : भारत सहित कोई भी क्रिकेट बोर्ड क्रिकेट के सबसे छोटे प्रारूप को गंभीरता से नहीं लेता था, ऐसे समय में एमएस धोनी के नेतृत्व वाली एक युवा टीम ने इतिहास रच दिया। उन्होंने टूर्नामेंट के शुरूआती चरण में रोमांचक फाइनल में चिर प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान को हराकर ट्रॉफी हासिल की।
2011 वनडे विश्व कप : भारतीय टीम पर वनडे विश्व कप ट्रॉफी के लिए लंबे इंतजार को समाप्त करने का काफी दबाव था। धोनी की टीम ने मुंबई में फाइनल में श्रीलंका को छह विकेट से हराकर 28 साल के लंबे इंतजार के बाद अपना दूसरा 50 ओवर का विश्व कप जीता जिसमें सचिन तेंदुलकर सभी के आकर्षण का केंद्र रहे।
2013 चैंपियंस ट्रॉफी: आईसीसी टूर्नामेंट में धोनी के नेतृत्व और भारत के सबसे सफल कप्तान के रूप में उनकी प्रतिष्ठा को तब मजबूती मिली जब उनकी टीम ने एजबेस्टन में बारिश से बाधित फाइनल में इंग्लैंड को हराया। कम स्कोर वाले इस मैच में रविंद्र जडेजा ने 25 गेंद में 35 रन बनाकर भारत को सात विकेट पर 129 रन के स्कोर पर पहुंचाया लेकिन धोनी की रणनीतिक सूझबूझ और क्षेत्ररक्षकों को सजाने की उनकी प्रतिभा ने उन्हें पांच रन से जीत दिलाई।
2024 T20I विश्व कप: भारत के दो सबसे बड़े सुपरस्टार विराट कोहली और रोहित शर्मा खेल के छोटे प्रारूप में संन्यास लेने के कगार पर थे, भारत हर बार प्रतियोगिता में प्रबल दावेदार होने के बावजूद आईसीसी ट्रॉफी जीतने के एक और सूखे को समाप्त करने के लिए बेताब था।
रोहित और मुख्य कोच राहुल द्रविड़ को कुछ महीने पहले घरेलू मैदान पर 2023 वनडे विश्व कप के फाइनल में हारने की निराशा से खिलाड़ियों को बाहर निकालने के लिए कड़ी मेहनत करनी पड़ी। भारत ने दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ संयम से दबाव से निपटते हुए सात रन से जीत दर्ज कर दूसरी बार ट्रॉफी अपने नाम की।