भूषण ने पटियाला हाउस अदालत में उनके हाल में भारतीय सेना पर दिए गए बयान को लेकर यह मामला दर्ज कराया है। अधिवक्ता ने श्री आजाद के खिलाफ भारतीय दंड विधान की धारा 124 (राजद्रोह) 120 बी (आपराधिक षडयंत्र) 505 (1) (सेना, नौसेना, वायुसेना के अधिकारियों के संबंध में ऐसी अफवाहें फैलाना जो विद्रोह का कारण बन सकती हैं) के तहत मुकदमा चलाने का आग्रह किया है।
वरिष्ठ अधिवक्ता ने अपनी शिकायत में कहा है कि आजाद का 22 जून को टेलीविजन चैनल पर एक साक्षात्कार प्रसारित किया गया जिसमें कहा गया था, 'जम्मू-कश्मीर में भारतीय सेना की कार्रवाई में आतंकवादियों की तुलना में आम नागरिक अधिक मारे जाते हैं।'
शिकायत में आजाद जो जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री भी रह चुके हैं, पर आरोप लगाया गया है कि वे देश के सम्मान को ठेस पहुंचा रहे हैं। पूर्व केंद्रीय मंत्री सोज ने अपनी हाल में आई पुस्तक 'कश्मीर, ग्लिम्पसेस आफ हिस्ट्री ऐंड द स्ट्रोरी आफ स्ट्रगल' में कहा है कि कश्मीर के लोगों की पहली पसंद आजादी है और वह पाकिस्तान में विलय नहीं चाहते हैं।