एक विशेषज्ञ ने कहा कि मौजूदा त्योहारी मांग आयात वृद्धि में मदद कर रही है। वित्त वर्ष 2023-24 में भारत का सोने का आयात 30 प्रतिशत बढ़कर 45.54 अरब डॉलर रहा था। भारत के लिए स्विट्जरलैंड सोने का सबसे बड़ा निर्यातक है, जिसकी हिस्सेदारी लगभग 40 प्रतिशत है।
इसके बाद संयुक्त अरब अमीरात यूएई (16 प्रतिशत से अधिक) और दक्षिण अफ्रीका (लगभग 10 प्रतिशत) का स्थान है। देश के कुल आयात में सोने की हिस्सेदारी लगभग पांच प्रतिशत है। सोने के आयात में उछाल ने देश के व्यापार घाटे (आयात और निर्यात के बीच का अंतर) को चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही के दौरान 137.44 अरब डॉलर तक पहुंचा दिया, जबकि अप्रैल-सितंबर, 2023 के दौरान यह 119.24 अरब डॉलर था।
चीन के बाद भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा सोने का उपभोक्ता है। आयात मुख्य रूप से आभूषण उद्योग की मांग को पूरा करता है। देश का चालू खाते का घाटा अप्रैल-जून, 2024 में मामूली बढ़कर 9.7 अरब डॉलर या सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) का 1.1 प्रतिशत हो गया, जो पिछले साल इसी अवधि में 8.9 अरब डॉलर या जीडीपी का एक प्रतिशत था।
आंकड़ों से पता चलता है कि चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही के दौरान चांदी का आयात 376.41 प्रतिशत बढ़कर 2.3 अरब डॉलर हो गया, जो अप्रैल-सितंबर 2023-24 में 48.06 करोड़ डॉलर था। बजट में सरकार ने सोने और चांदी पर सीमा शुल्क को 15 प्रतिशत से घटाकर छह प्रतिशत कर दिया था। (भाषा)
Edited By : Chetan Gour