नई दिल्ली। नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजीव कुमार ने अनुचित व्यवहार के लिए कांवड़ियों की निंदा की और सवाल किया कि क्या धर्म के नाम पर गुंडागर्दी को अनुमति दी जानी चाहिए।
कुमार ने ट्वीट किया, 'गुंडागर्दी का सार्वजनिक प्रदर्शन अस्वीकार्य होना चाहिए। राष्ट्रीय राजमार्गों पर कांवड़ियों का व्यवहार सार्वजनिक संकट है। प्रदेश के अधिकारी इस आवागमन पर नियंत्रण क्यों नहीं करते, वे तेज आवाज के संगीत और घंटों तक सड़कों पर कब्जे को क्यों नहीं रोकते। क्या धर्म के नाम पर गुंडागर्दी को अनुमति होनी चाहिए?'
सोशल मीडिया पर कई लोगों ने राजीव कुमार की बात का समर्थन किया। कुछ लोगों ने इसके लिए केंद्र सरकार को जिम्मेदार बताया तो कुछ ने बेरोजगारी को। हालांकि अधिकांश लोगों ने इस मामले में आरोपियों को कड़ी सजा देने की मांग की।
पुलिस के अनुसार, 20 से अधिक कांवड़ियों ने सात अगस्त को एक सैंट्रो कार को नुकसान पहुंचाया था। पश्चिमी दिल्ली के मोतीनगर में कांवड़ियों के समूह की ओर से एक कार में तोड़फोड़ करने के मामले में गुरुवार को राहुल नामक एक युवक को गिरफ्तार किया है।
एक आरोपी गिरफ्तार, क्यों भड़के थे कांवड़िए : सीसीटीवी फुटेज और जानकारियों के आधार पर राहुल को गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तारी के समय वह वही कपड़े पहने हुए था जो उसने वारदात के समय पहने थे। झगड़े के दौरान राहुल के हाथ में कार का शीशा टूटकर लग गया जिससे उसके हाथ से खून निकलने लगा तब कांवड़ियों को लगा कि उसके साथ मारपीट की गई है। उसके बाद कई कांवड़िये वहां जमा हो गए और कार में तोड़फोड़ की।