भारत में 2024 में करोड़पतियों की संख्या 6 फीसदी बढ़ी, अरबपतियों की संख्या हुई 191

वेबदुनिया न्यूज डेस्क

बुधवार, 5 मार्च 2025 (17:30 IST)
Number of billionaires and millionaires increased in India : वैश्विक रियल एस्टेट परामर्श कंपनी नाइट फ्रैंक ने कहा है कि एक करोड़ डॉलर से अधिक की संपत्ति वाले उच्च नेटवर्थ भारतीयों की संख्या पिछले साल 6 प्रतिशत बढ़कर 85698 हो गई। नाइट फ्रैंक ने बुधवार को अपनी 'द वेल्थ रिपोर्ट-2025' जारी की। इसमें अनुमान लगाया गया है कि भारत में उच्च नेटवर्थ वालों (एचएनडब्ल्यूआई) की संख्या बढ़कर 2024 में 85,698 होने का अनुमान है जबकि पिछले साल यह 80,686 थी। भारत में अरबपतियों की आबादी में भी 2024 में सालाना आधार पर मजबूत वृद्धि हुई है। परामर्श कंपनी ने कहा कि भारत में अब 191 अरबपति हैं।
 
परामर्श कंपनी ने कहा कि 2028 तक यह संख्या बढ़कर 93,753 पर पहुंचने की उम्मीद है। इससे पता चलता है कि भारत में अमीरों की संख्या बढ़ रही है। उच्च नेटवर्थ वाले लोगों की बढ़ती संख्या देश की मजबूत दीर्घकालीन आर्थिक वृद्धि, बढ़ते निवेश अवसरों और विकसित हो रहे लक्जरी बाजार को दर्शाती है। यह भारत को वैश्विक धन सृजन में एक प्रमुख देश के रूप में स्थापित करती है।
ALSO READ: Swiggy के आईपीओ के सूचीबद्ध होने के साथ 500 कर्मचारी बने करोड़पति, 9,000 करोड़ के शेयर आवंटित
भारत में अरबपतियों की आबादी में भी 2024 में सालाना आधार पर मजबूत वृद्धि हुई है। परामर्श कंपनी ने कहा कि भारत में अब 191 अरबपति हैं। इनमें से 26 पिछले साल ही इस श्रेणी में शामिल हुए हैं। जबकि 2019 में यह संख्या सिर्फ 7 थी। भारतीय अरबपतियों की संयुक्त संपत्ति 950 अरब डॉलर आंकी गई है, जो अमेरिका (5,700 अरब डॉलर) और चीन (1,340 अरब डॉलर) के बाद वैश्विक स्तर पर तीसरे स्थान पर है।
 
नाइट फ्रैंक इंडिया के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक शिशिर बैजल ने कहा कि भारत में बढ़ती संपत्ति इसकी आर्थिक मजबूती और दीर्घकालीन वृद्धि क्षमता को दर्शाती है। देश में बढ़ती उद्यमशीलता, वैश्विक एकीकरण और उभरते उद्योगों के साथ उच्च नेटवर्थ मूल्य वाले व्यक्तियों की संख्या में वृद्धि देखी जा रही है।
ALSO READ: दुनियाभर में अरबपतियों की संपत्ति 3 गुना तेजी से बढ़ी, 1 दशक के भीतर होंगे कम से कम 5 खरबपति
उन्होंने कहा कि न केवल संख्या बढ़ रही है बल्कि भारत के इस वर्ग की उभरती निवेश प्राथमिकताओं में भी यह देखा जा रहा है, जो रियल एस्टेट से लेकर वैश्विक इक्विटी तक परिसंपत्ति वर्गों में विविधता ला रहे हैं। बैजल ने कहा कि आने वाले दशक में वैश्विक संपत्ति सृजन में भारत का प्रभाव और मजबूत होगा।(भाषा)
Edited By : Chetan Gour

वेबदुनिया पर पढ़ें

सम्बंधित जानकारी