IMA ने कहा कि प्रधानमंत्री यह साबित करें कि शीर्ष कंपनियों ने रिश्वत के तौर पर डॉक्टरों को विदेश यात्रा, गैजेट्स, लड़कियां उपलब्ध कराईं।
पिछले साल नवंबर में पुणे की संस्था सपोर्ट फॉर एडवोकेसी एंड ट्रेनिंग टू हेल्थ इनीशिएटिव्स ने अपनी स्टडी में दावा किया था कि डॉक्टर्स महंगी यात्राएं, टैबलेट, चांदी के सामान, सोने के गहने और पेट्रोल कार्ड तक फार्मा कंपनियों से रिश्वत के रूप में लेते हैं।