बिरला ने यहां कहा कि 80 प्रतिशत सदस्यों ने आश्वासन दिया है कि अगले सत्र से वे पेपरलेस काम करेंगे। इससे पैसे की बचत तो होगी ही, महत्वपूर्ण समय की भी बचत होगी। सदस्यों को किसी विधेयक की प्रति या कोई अन्य दस्तावेज पहुंचाने पर अभी काफी ज्यादा पैसा खर्च होता है।
बिरला ने बताया कि सदस्यों को कभी-कभी विधेयक को समझने में दिक्कत होती है इसलिए ऐसी व्यवस्था की जाएगी कि सत्र के दौरान हर दिन सुबह 9 से 10 बजे के बीच सदस्यों को विधेयक के बारे में जानकारी देने के लिए विशेषज्ञ संसद भवन परिसर में मौजूद रहें और जो सदस्य जानकारी हासिल करना चाहते हैं, वे जानकारी ले सकें। उन्होंने कहा कि इससे सदस्य चर्चा की बेहतर तैयारी कर सकेंगे। सदस्य उन्हीं विधेयकों के बारे में जानकारी ले सकेंगे, जो संसद में पेश किए जा चुके हैं।