लखनऊ। समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष एवं उत्तरप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने सत्तारूढ़ भाजपा पर केंद्रीय संस्थाओं के सहारे विपक्षी नेताओं को धमकाने का रविवार को आरोप लगाया। उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर अपना और समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं का फोन टेप कराने का भी आरोप लगाया।
सपा मुख्यालय में पत्रकारों से बातचीत में यादव ने योगी को अनुपयोगी मुख्यमंत्री और भाजपा सरकार को अनुपयोगी सरकार करार देते हुए आरोप लगाया कि 'हम सबके फोन सुने जा रहे हैं और अनुपयोगी मुख्यमंत्री खुद शाम को कुछ लोगों की रिकॉर्डिंग सुनते हैं।' उन्होंने पत्रकारों से कहा कि आप लोग भी सावधान रहें अगर हमसे फोन पर बात करते हैं तो जरूर सावधान रहें।
सपा प्रमुख ने शनिवार को पार्टी के राष्ट्रीय सचिव राजीव राय के ठिकानों समेत अन्य सपा नेताओं के घरों में आयकर विभाग की छापेमारी पर आक्रोश प्रकट करते हुए कहा कि 'जैसे जैसे भाजपा को हार सताएगी, उत्तरप्रदेश में उनके नेताओं, मुख्यमंत्रियों और दिल्ली से आने वाले नेताओं की संख्या बढ़ जाएगी और इसमें कोई शक नहीं था कि पार्टी आयकर विभाग, प्रवर्तन निदेशालय, केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो और भी संस्थाओं का सहारा लेकर हमला करने का काम करेगी।
केंद्रीय संस्थाओं का सहारा लेकर सपा कार्यकर्ताओं के उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि अभी तक तो वर्तमान सरकार को हटाने के लिए इन संस्थाओं का इस्तेमाल किया जाता था लेकिन पहली बार देखने को मिल रहा है कि उत्तर प्रदेश में सपा की सरकार न बन जाए इसके लिए इन संस्थाओं का इस्तेमाल किया जा रहा है।
यादव ने कहा कि पूरा देश जानता है कि जहां-जहां भारतीय जनता पार्टी चुनाव हारने लगती है, इन संस्थाओं को आगे कर देती है।' उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा भी केंद्रीय एजेंसियों का सहारा लेकर विपक्षी दलों को डराने के लिए कांग्रेस के रास्ते पर जा रही है।
सपा प्रमुख ने भाजपा और उसके सहयोगी निर्बल इंडियन शोषित हमारा आम दल (निषाद) की शुक्रवार को हुई साझा रैली में आरक्षण की मांग को लेकर निषादों के हंगामे का जिक्र करते हुए कहा कि मंच पर जो हंगामा हुआ, निषाद समाज के साथ जो धोखा हुआ, वह केवल निषाद समाज नहीं बल्कि पिछड़े, अति पिछड़े, दलित और बड़ी संख्या में अगड़े और ब्राह्मणों के साथ इस अनुपयोगी सरकार ने किया है।
मुख्यमंत्री पर आरोपों की बौछार करते हुए सपा प्रमुख ने कहा कि उन्होंने लोकसभा चुनाव में जातिवादी मानसिकता के तहत सजातीय अधिकारियों के साथ मिलकर सपा को चुनाव हराया। पूर्व मुख्यमंत्री ने यह भी आरोप लगाया कि गोरखपुर में अनुपयोगी मुख्यमंत्री ने अपनी दुकानों पर बुलडोजर चलाया और उसका मुआवजा उठा लिया जबकि दुकानें सरकारी जमीन पर बनीं थी।
यादव ने कहा कि देश में आपराधिक घटनाओं, अत्याचार, नफरत फैलाने, पुलिस हिरासत में होने वाली मौत, झूठे वादों, आंकड़ा छिपाने और दूसरों के काम को अपना काम बताने में उत्तर प्रदेश नंबर वन हो गया।