नौसेना के अनुसार, पनडुब्बी एआरए सैन जुआन से बुधवार से कोई संपर्क नहीं हुआ, जिससे ब्यूनस आयर्स को ब्राजील, ब्रिटेन, चिली और अमेरिका समेत अन्य देशों के सहयोग से वायु और समुद्र में खोज अभियान शुरू करना पड़ा।
मंत्रालय ने बताया कि अमेरिकी उपग्रह संचार विशेषज्ञों की मदद से विभिन्न नौसैन्य अड्डों पर संकेत मिले। अभी सटीक स्थान का पता लगाया जा रहा है, जहां से ये सिग्नल मिले। ब्राजील, ब्रिटेन, चिली, अमेरिका और उरुग्वे ने विमानों से खोज अभियान में भाग लिया। अमेरिका ने कहा कि वह बचाव सहायता भेज रहा है।