कोलकाता। भारतीय टीम गुरुवार को यहां होने वाले दूसरे एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय मैच में शीर्ष क्रम बल्लेबाजों के सीरीज के शुरुआती मुकाबले में खराब प्रदर्शन की भरपाई करने की उम्मीद के साथ चाहेगी कि उनके स्पिनर ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ियों को परेशान करना जारी रखें।
ऑस्ट्रेलियाई टीम को भारत के कुलदीप यादव और युजवेंद्र चहल की नई स्पिन जोड़ी को खेलने में काफी मुश्किल हुई तथा मेजबान भी यह सुनिश्चित करना चाहेंगे कि सीरीज के आगे बढ़ने के दौरान भी इसमें कोई ढिलाई नहीं आए।
यादव की गेंद ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ियों के लिए रहस्यमयी साबित हो रही है और उन्हें चहल की स्लाइडर को भी समझने में परेशानी हो रही है। मेहमान खिलाड़ी स्थानीय स्पिनरों की मदद लेते हुए भी दिखाई दिए ताकि भारतीय गेंदबाजों का डटकर सामना कर सकें।
केरल के केके जियास ने चेन्नई वनडे से पहले और यहां स्थानीय क्लब के 2 गेंदबाजों आशुतोष शिवराम और रूपक गुहा ने ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों को स्पिनरों से निपटने का कुछ अभ्यास कराया।
बारिश से प्रभावित पहले वनडे में 21 ओवरों में 164 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए ऑस्ट्रेलियाई टीम ने 35 रन में 4 विकेट गंवा दिए थे, इसके बाद ग्लेन मैक्सवेल ने शानदार शॉट लगाकर उम्मीद तो जगाई लेकिन चहल और यादव ने शानदार गेंदबाजी प्रदर्शन करते हुए डकवर्थ लुईस पद्धति से भारत को 26 रनों से जीत दिलाई।
ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ियों के लिए सबसे बड़ा खतरा हार्दिक पंड्या के रूप में हैं जिन्होंने भारत को 6 विकेट पर 76 रन के स्कोर से 7 विकेट पर 281 रन के सम्मानजनक स्कोर तक पहुंचाने में मदद की।
पंड्या ने एक बार फिर छक्कों की हैट्रिक (अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में 4 बार) लगाते हुए महेंद्र सिंह धोनी (88 गेंदों में 79 रनों) के साथ 118 रनों की मैच का रुख बदलने वाली साझेदारी के दौरान 66 गेंदों में 83 रनों की पारी खेली।
आईपीएल 2015 के बाद से पंड्या का चढ़ाव शानदार रहा है। वे बेपरवाह हिटर से अब खिलाड़ी के तौर पर परिपक्व बनते जा रहे हैं, इसके साथ ही वे भारत के लिए मध्यम गति की गेंदबाजी करने वाले उपयोगी ऑलराउंडर के रूप में भी सामने आ रहे हैं जिसे भारत लंबे समय से खोज रहा था।
चेन्नई में उनकी पारी ने भारत की ही मदद नहीं की बल्कि इससे ऑस्ट्रेलियाई स्पिनर एडम जम्पा के मनोबल पर भी काफी खराब असर पड़ा। यह भी देखना होगा कि ऑस्ट्रेलिया के स्पिनर भारत के मजबूत बल्लेबाजी लाइन अप को कैसे चुनौती देते है। उनके पास ग्लेन मैक्सवेल, ट्रेविस और एशटन के रूप में कामचलाऊ स्पिनर भी हैं।
जम्पा ने कहा, 'हमारे आक्रमण में काफी वैरिएशन है लेकिन बस यह रणनीति लागू करने की बात है। ऑस्ट्रेलिया में आप अपनी लेंथ में थोड़ा फेरबदल कर सकते हो और आप शायद मैदान के आकार से बच भी जाते हो। लेकिन लेंथ काफी अहम है।
कप्तान स्टीव स्मिथ के लिए भी यह काफी चुनौतीपूर्ण समय है जिन्हें बेहतरीन तरीके से नेतृत्व करने की जरूरत है। डेविड वार्नर को भी आक्रामक खेलकर अच्छी नींव रखनी होगी।
चेन्नई में शीर्ष क्रम में हिल्टन कार्टराइट के प्रदर्शन को देखते हुए ट्रेविस हेड को सलामी बल्लेबाज का स्थान देना गलत फैसला नहीं होगा। हेड ने बोर्ड अध्यक्ष एकादश के खिलाफ अभ्यास मैच में 103 रन की जीत के दौरान 65 रन की पारी खेली।
अगर हेड पारी का आगाज करते हैं तो ग्लेन मैक्सवेल या मार्कस स्टोईनिस चौथे नंबर का स्थान भरने के लिए उपलब्ध होंगे जहां वे पहले ही छह खिलाड़ियों को आजमा चुके हैं। ऑस्ट्रेलियाई टीम अपने आल राउंडर जेम्स फॉकनर, स्टोईनिस और मैक्सवेल से भी अच्छे योगदान की उम्मीद रखेगी।
भारतीय बल्लेबाजी के लिए यह अच्छा संकेत है कि शीर्ष क्रम के विफल होने के बाद निचला क्रम भी चुनौती पेश कर रहा है। धोनी जहां शानदार फार्म में थे, वहीं भुवनेश्वर कुमार को 30 गेंद में नाबाद 32 रन की पारी खेलते हुए देखना शानदार था।
टीम सलामी बल्लेबाज अजिंक्य रहाणे और रोहित शर्मा से मजबूत शुरुआत की उम्मीद करेगी जबकि कप्तान विराट कोहली भी चेन्नई में विफल होने के बाद रन जुटाने की कोशिश करेंगे।
कोहली ने इस साल वनडे में 19 पारियों में चार शतक और छह अर्धशतकों से 1017 रन जुटाए हैं।
भारत और आस्ट्रेलिया 2003 नवंबर में टीवीएस कप फाइनल के बाद दूसरा वनडे खेलेंगे लेकिन बारिश की भविष्यवाणी से इस मुकाबले का भी मजा किरकिरा हो सकता है।
टीमें इस प्रकार हैं:भारत : विराट कोहली (कप्तान), अजिंक्य रहाणे, रोहित शर्मा, मनीष पांडे, केदार जाधव, महेंद्र सिंह धोनी (विकेटकीपर), हार्दिक पंड्या, भुवनेश्वर कुमार, कुलदीप यादव, युजवेंद्र चहल, जसप्रीत बुमरा, लोकेश राहुल, रविंद्र जडेजा, उमेश यादव और मोहम्मद शमी।