एयर इंडिया के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक राजीव बंसल को लिखे पत्र में आईसीपीए ने कहा, माननीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी द्वारा दिनांक 16 जुलाई 2020 को कहा था कि हम पायलटों के साथ बातचीत कर रहे हैं, जो सच्चाई से दूर है।
भारतीय वाणिज्यिक पायलट संघ (आईसीपीए) ने कहा, यह एक बातचीत नहीं थी, बल्कि एमओसीए (नागर विमानन मंत्रालय) का अप्रिय आदेश था, जो हमें बताया गया। हम यह भी बताना चाहते हैं कि उक्त तथाकथित बातचीत किसी भी तरह से सौहाद्रपूर्ण नहीं थी।
संयुक्त पत्र में कहा गया, पायलटों के लिए प्रस्तावित कटौती लगभग 60 प्रतिशत है, जबकि यह ध्यान देने योग्य है कि शीर्ष प्रबंधन ने अपने सकल वेतन में 3.5 प्रतिशत कटौती का प्रस्ताव किया है।एयर इंडिया पर लगभग 70,000 करोड़ रुपए का कर्ज है और सरकार ने इसे इस साल जनवरी में इसके निजीकरण की प्रक्रिया शुरू की है।(भाषा)