नई दिल्ली। एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र उत्तरी पाकिस्तान और इससे सटे क्षेत्र पर बना हुआ है, वहीं अन्य चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र उत्तरी बांग्लादेश के ऊपर देखा जा सकता है। निचले स्तरों पर विदर्भ से केरल तक आंतरिक कर्नाटक से गुजरते हुए एक ट्रफ रेखा बनी हुई है। पिछले 24 घंटों के दौरान केरल और लक्षद्वीप में हल्की से मध्यम बारिश के साथ एक-दो स्थानों पर भारी बारिश हुई। पूर्वोत्तर भारत, सिक्किम और उपहिमालयी पश्चिम बंगाल में हल्की से मध्यम बारिश हुई।
पश्चिमी राजस्थान के कई हिस्सों और पूर्वी राजस्थान के कुछ हिस्सों में लू से गंभीर लू की स्थिति देखी गई। हिमाचल प्रदेश के कई हिस्सों में सौराष्ट्र और कच्छ के कुछ हिस्सों में और जम्मू क्षेत्र, उत्तराखंड और पश्चिम मध्यप्रदेश में एक या दो स्थानों पर लू की स्थिति बनी। हिमाचल प्रदेश के जम्मू संभाग के कुछ हिस्सों, गुजरात और पश्चिमी मध्यप्रदेश में लू चल रही है।
अगले 24 से 48 घंटों के दौरान पश्चिमी राजस्थान में लू से गंभीर लू की स्थिति संभव है और उसके बाद 2 अप्रैल तक लू की स्थिति बनी रह सकती है। 31 मार्च तक जम्मू क्षेत्र, हिमाचल प्रदेश, दक्षिण हरियाणा के कुछ हिस्सों, दिल्ली, सौराष्ट्र और कच्छ, पूर्वी राजस्थान, पश्चिम मध्यप्रदेश और विदर्भ के साथ-साथ उत्तरी मध्य महाराष्ट्र और मराठवाड़ा के कुछ हिस्सों में हीट वेव की स्थिति संभव है।
30 मार्च से 2 अप्रैल के बीच दक्षिण उत्तरप्रदेश, झारखंड के कुछ हिस्सों और आंतरिक ओडिशा में हीट वेव की स्थिति संभव है। केरल और लक्षद्वीप में छिटपुट स्थानों के साथ हल्की से मध्यम बारिश के साथ एक-दो स्थानों पर भारी बारिश संभव है। दक्षिण तटीय कर्नाटक, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के कुछ हिस्सों और पूर्वोत्तर भारत में हल्की से मध्यम बारिश संभव है। आंतरिक तमिलनाडु और उपहिमालयी पश्चिम बंगाल में हल्की बारिश संभव है।