जम्मू। हालांकि जम्मू-कश्मीर प्रशासन प्रदेश में पहली बार संपत्ति कर लगाने के अपने निर्देश के 'फायदे' गिना रहा है, पर इस पर मचा हुआ बवाल जबरदस्त विरोध में बदल चुका है। अगर श्रीनगर नगर निगम इसके विरुद्ध उठ खड़ा हुआ है तो जम्मू नगर निगम के मेयर अपनी उस घोषणा से पीछे हट गए हैं जिसमें उन्होंने निगम के पार्षदों की आधिकारिक बैठक में इसे लागू न करने की बात कही थी।
श्रीनगर पार्षद मोर्चा के प्रधान दानिश शफी बट कहते हैं कि चुने हुए प्रतिनिधियों से सलाह किए बिना ऐसे आदेश जारी करना गैरकानूनी है। जम्मू के मेयर राजेंद्र शर्मा भाजपा से हैं और वे चाहकर भी इस आदेश का विरोध नहीं कर पा रहे हैं और न ही वे उस वीडियो का खंडन कर रहे, जिसमें उन्होंने दावे के साथ कहा कि वे जम्मू में संपत्ति कर लागू नहीं होने देंगे।