आरक्षण से वंचित वर्ग के गरीब लोगों को भी मिले इसका लाभ : तिवाड़ी

सोमवार, 24 सितम्बर 2018 (17:01 IST)
जयपुर। भारत वाहिनी पार्टी के अध्यक्ष घनश्याम तिवाड़ी ने कहा है कि सरकारी नौकरियों और शिक्षा के क्षेत्र में आरक्षण से समाज का जो तबका वंचित रह गया है, उसे भी आरक्षण का लाभ देकर उसकी नाराजगी दूर करने के साथ ही सामाजिक समरसता कायम की जानी चाहिए।


तिवाड़ी ने सोमवार को बताया कि केन्द्र और राज्य सरकारों द्वारा अनुसूचित जाति और जनजाति के अलावा अन्य पिछड़ा वर्ग को आरक्षण का लाभ दिया गया है लेकिन इसके बावजूद समाज में कई ऐसी जातियां हैं, जिनको आरक्षण की किसी भी श्रेणी में लाभ नहीं मिल पाता है। ऐसी जातियों में राजपूत, ब्राह्मण, वैश्य तथा मुसलमान और सिंधी समाज की कुछ जातियां शामिल हैं।

उन्होंने कहा कि आरक्षण से वंचित लोगों को 14 प्रतिशत आरक्षण का लाभ दिया जाना चाहिए। उच्चतम न्यायालय के दिशा-निर्देशों के अनुसार, आरक्षण की सीमा पचास प्रतिशत से अधिक नहीं होने के संबंध में उन्होंने कहा कि तमिलनाडु, कर्नाटक और झारखंड सहित कई राज्यों में 50 प्रतिशत से अधिक के आरक्षण का प्रावधान है।

तिवाड़ी ने कहा कि यह कानूनी लड़ाई नहीं बल्कि यह सामाजिक न्याय की लड़ाई है और यदि सरकार इस वंचित तबके को सामाजिक न्याय और आरक्षण दिलाना चाहती है तो इसके संविधान में संशोधन किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि यह न्याय की लड़ाई है कानून की नहीं।

भारतीय जनता पार्टी के पूर्व वरिष्ठ नेता तिवाड़ी ने कहा कि राज्य में आरक्षण के मामले में भाजपा और कांग्रेस दोनों ने आरक्षण से वंचित इन लोगों के साथ धोखा किया और उनको आर्थिक न्याय नहीं मिलने दिया। उन्होंने कहा कि यदि सरकारों की मंशा इस वर्ग को आरक्षण दिलाने की होती तो उच्चतम न्यायालय का फैसला इसमें रुकावट नहीं बन सकता था, इसके लिए सरकारें कानून बना सकती थीं और इसे संविधान की नौवीं अनुसूची में डाल देती, इससे उच्चतम न्यायालय की अवहेलना भी नहीं होती और वंचित वर्ग को आरक्षण का लाभ भी मिल जाता। राफेल विवाद पर पूछे जाने पर तिवाड़ी ने कहा कि जनता को सच जानने का पूरा हक है।

आगामी विधानसभा चुनावों की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा, कई दलों के नेता भारत वाहिनी पार्टी के संपर्क में हैं और उचित समय पर आगे की रणनीति पर खुलासा किया जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य में अघोषित आपातकाल के हालात हैं और यदि उनकी पार्टी सत्ता में आई तो सामाजिक और आर्थिक असमानता तथा वर्गभेद को दूर करने का प्रयास किया जाएगा। (वार्ता)

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