दरअसल, गुरुवार को सऊदी की सरकार ने अपनी नीति में व्यापक बदलाव किया है जिसमें निजी क्षेत्र के तेजी से विस्तार की बात की गई है। इसी नीति में देश को दशकों पुरानी संरक्षकता प्रणाली की जकड़न से पीछा छुड़ाने का रास्ता दिखाया गया है।
अभी तक सऊदी अरब की संरक्षकता प्रणाली में महिलाओं को किसी सरकारी कागजी कार्रवाई, यात्रा या कक्षाओं में प्रवेश के लिए किसी पुरुष संरक्षक से पूर्वानुमति लेनी होती थी, जो आम तौर पर पति, पिता या भाई होता है।
मुस्लिम राजशाही वाले अधिकतर मुल्कों में जहां महिलाओं को अभी भी कई तरह की रोकटोक का शिकार होना पड़ रहा है, वहीं सऊदी अरब में उनकी भागीदारी बढ़ाने के कई प्रयास हो रहे हैं। इनमें जासूसों और हवाई अड्डों पर उनकी भर्ती जैसे कदम शामिल हैं। (भाषा)