मॉनसून सीजन में नमी से त्वचा को अधिक खतरा रहता है। खुजली होना, लाल चकत्ते होना, रेशैज होना तो लगातार खुजली बनी रहना। कई बार कुछ बीमारियां बेहद आम लगती है लेकिन एलर्जी का भी शिकार हो सकते हैं। जी हां, एटोपिक डर्मेटाइटिस यह एक्जिमा खुजली का सबसे आम रूप होता है। इसे चकत्ते वाली खुजली भी कहा जाता है। यह बीमारी वयस्कों को भी होती है और बच्चों में भी पाई जाती है। आइए जानते हैं इस बीमारी के लक्षण और उपाय:
एटोपिक डर्मेटाइटिस बीमारी के लक्षण -
- त्वचा का रूखापन।
- लाल चकत्ते होना।
- त्वचा फटना, लाल होना।
- त्वचा पर पपड़ी जमना तो कभी तरल पदार्थ निकलना।
एटोपिक डर्मेटाइटिस से बचाव के उपाय
- स्नान और शॉवर का समय कम करें। लंबे वक्त तक नहीं नहाएं।
- अधिक गर्म पानी से नहीं नहाएं।
- किसी वजह से एलर्जी हो रही है लगातार काउंसिल करते रहें। जी हां, इस बीमारी में आपको लगातार खुद से ही ध्यान देना होता है कि आपको कब-कब खुजली हो रही है और किस समय अधिक खुजली चल रही है। अक्सर मौसम बदलने पर भी खुजली होती है।
- खाद्य पदार्थों से भी एलर्जी हो सकती है उसकी पहचान करें।
- कुछ लोगों को दूध, अंडा खाने से भी एलर्जी अधिक होती है।
- नहाने के बाद स्किन को अच्छे से सुखाएं और मॉइश्चराइजर लगाएं।
- दिन में कम से कम बॉडी को दो बार मॉइश्चराइजर करते रहें। आप पेट्रोलियम जेली का इस्तेमाल कर सकते हैं।
यह एक प्रकार से क्रॉनिक डिजीज है। इसका लंबे वक्त तक भी उपचार चलता है। कई बार इस बीमारी का सही सॉल्यूशन भी नहीं मिलता है। जब तक आप दवा लेते हैं तब तक आपको आराम रहता है। फिर से एक्जिमा की समस्या हो सकती है। इसलिए शुरुआती लक्षण दिखने पर इसका तुरंत उपचार संभव है। अन्यथा दूसरी बीमारी भी आपको घेर सकती है। यह एक सामान्य जानकारी है। इस तरह के लक्षण दिखने पर डॉक्टर से जरूर सलाह लें।